साथ न छूटे प्यार ना टूटे,
दिलो के बीच ,घरद्वार ना टूटे ,
दो पल की ज़िन्दगानी मे ,
पलकों से कभी आँसू ना रूठे।
कम भी नहीं ,कुछ ज्यादा भी नहीं ,
प्यार भरे आँगन से,भवन कुछ नहीं ,
इंसानियत का जज्बा हो,
मूक ना बने ,ना दर्सक हो ,
कुछ कहने सुनने की फ़रमाइश हो ,
हरपल जिंदगी मे कुछ अंगड़ाई हो।
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